- Over 50gw of solar installations in india are protected by socomec pv disconnect switches, driving sustainable growth
- Draft Karnataka Space Tech policy launched at Bengaluru Tech Summit
- एसर ने अहमदाबाद में अपने पहले मेगा स्टोर एसर प्लाज़ा की शुरूआत की
- Acer Opens Its First Mega Store, Acer Plaza, in Ahmedabad
- Few blockbusters in the last four or five years have been the worst films: Filmmaker R. Balki
धर्म, नीति के मार्ग पर नहीं चलने से समाज की दुर्दशा: स्वामी जगदीश पुरी
इंदौर. विद्वता के साथ विनम्रता भी आवष्यक है. अहंकार युक्त ज्ञान और ज्ञानी, दोनों किसी काम के नहीं होते. संसार का कोई रिश्ता हमें तैरा नहीं सकता और परमात्मा के साथ कोई भी संबंध हमें डुबो नहीं सकता. समाज में अन्याय, अनीति और दुराचार बढऩे का कारण यही है कि हम धर्म और नीति के मार्ग पर नहीं चल रहे या अपनी स्वच्छंदता से धर्मग्रंथों के संदेशों का दुरूपयोग कर रहे हैं.
शक्करगढ़, भीलवाड़ा स्थित अमरज्ञान निरंजनी आश्रम के आचार्य महामंडलेश्वर स्वामी जगदीशपुरी महाराज ने मनोरमागंज स्थित गीता भवन पर चातुर्मास अनुष्ठान के अंतर्गत भागवत कथासार एवं प्रवचन के दौरान उक्त दिव्य विचार व्यक्त किये। गीता भवन ट्रस्ट के अध्यक्ष गोपालदास मित्तल, मंत्री राम ऐरन, सत्संग समिति के संयोजक रामविलास राठी, सुश्री प्रमिला नामजोशी आदि ने प्रारंभ में महामंडलेश्वरजी का स्वागत किया। इसके पूर्व महामंडलेश्वरजी के सान्निध्य में विष्णु सहस्त्रनाम से आराधना में भी सैकड़ों भक्त शामिल हुए. गीता भवन में स्वामी जगदीशपुरी महाराज के सान्निध्य में प्रतिदिन प्रात: 8.30 से 9 बजे तक विष्णु सहस्त्रनाम से आराधना, 9 से 10.30 एवं सांय 5 से 6.30 बजे तक भागवत कथासार एवं प्रवचनों की अमृत वर्षा जारी रहेगी।
ईष्र्या बना देती है खोखला
महामंडलेश्वर ने कहा कि परमात्मा का नाम स्मरण करते हुए उन्हें अपना बना लेना ही जीवन की धन्यता है. धु्रव, प्रहलाद, मीरा को जब भगवान दर्षन दे सकते हैं तो हमें क्यों नहीं. हमारी भक्ति में क्या कमी है. दरअसल हम सबमें मरते दम तक लोभ और तृष्णा की प्रवृत्ति नहीं छूटती. ईष्र्या हमें अंदर ही अंदर खोखला बना देती है। प्रभु की शरणागति में चले जाएंगे तो सारे संकट दूर हो जाएंगे.