अचानक हार्ट अटैक भारतीयों के लिए गंभीर समस्या – डॉ. राकेश जैन

तेल को बार बार गरम करके उसका उपयोग हार्ट के लिए नुकसानदायक

इंदौर, 2024 – भारतीयों में अचानक हार्ट अटैक का बढ़ता खतरा विशेष रूप से कम उम्र के व्यक्तियों के लिए एक गंभीर स्वास्थ्य चुनौती बन गया है। हार्ट अटैक, स्ट्रोक, और हार्ट फेल्योर जैसी कार्डियोवैस्कुलर बीमारियों पूरे विश्व में मृत्यु के प्रमुख कारणों में गिनी जाती हैं। हर साल करीब 205 लाख लोगों की मृत्यु इन बीमारियों के कारण होती है, जिनमें से 80% मौतों को समय रहते रोका जा सकता है। यह महत्वपूर्ण जानकारी इंदौर के प्रमुख हृदय रोग विशेषज्ञ डॉ. राकेश जैन, सीनियर कंसलटेंट, इंटरनेशनल कार्डियोलॉजिस्ट, महावीर क्लीनिक एवं डायग्नोस्टिक सेंटर, गीता भवन चौराहा ने विश्व हृदय दिवस के अवसर पर साझा की।

भारत में हार्ट अटैक की गंभीर स्थिति

डॉ. राकेश जैन ने बताया कि पश्चिमी देशों की तुलना में भारत में ह्रदय संबंधी बीमारियाँ लगभग 10 वर्ष पहले ही सामने आती हैं और अधिक खतरनाक साबित होती हैं। यह स्थिति कम उम्र के व्यक्तियों में अचानक हार्ट अटैक का प्रमुख कारण बन रही है। उन्होंने कहा कि पिछले तीन दशकों में, कार्डियोवैस्कुलर बीमारियाँ 3-4 गुना तक बढ़ी हैं। जहाँ 1990 में इनकी संख्या 257 लाख थी, वहीं 2023 तक यह 640 लाख से अधिक हो चुकी है। कार्डियोवैस्कुलर बीमारियों के पारंपरिक कारकों में मधुमेह, हाई ब्लड प्रेशर, कोलेस्ट्रॉल असंतुलन, धूम्रपान, गतिहीन जीवनशैली, और वंशानुगत विकृतियाँ प्रमुख हैं। मधुमेह से पीड़ित व्यक्तियों में इन बीमारियों का खतरा 2-4 गुना अधिक होता है। साथ ही, उन्होंने बताया कि भारत में कोलेस्ट्रॉल की असमानताएँ भी तेजी से बढ़ रही हैं, जो छोटे बच्चों को भी प्रभावित कर रही हैं। पारंपरिक कारणों के अलावा, वायु प्रदूषण, मोटापा, और तेल को बार-बार गरम करके खाना बनाना भी दिल की बीमारियों के नए और गंभीर कारक बनते जा रहे हैं।

तेल का बार-बार उपयोग ह्रदय के लिए नुकसानदायक

डॉ. राकेश जैन ने विशेष रूप से आगाह किया कि रसोई में तेल को बार-बार गरम करके उसका उपयोग करना ह्रदय स्वास्थ्य के लिए हानिकारक है। उन्होंने लोगों से अपील की कि वे इस आदत से बचें और स्वास्थ्यवर्धक तेलों का इस्तेमाल करें ताकि दिल के रोगों के खतरे को कम किया जा सके। उन्होंने यह भी बताया कि नियमित शारीरिक व्यायाम दिल की बीमारियों से बचाव का महत्वपूर्ण साधन है। व्यायाम करने से कार्डियोवैस्कुलर बीमारियों का खतरा लगभग आधा हो सकता है। दुर्भाग्य से, 10% से भी कम लोग नियमित व्यायाम करते हैं। उन्होंने कहा कि आहार में कार्बोहाइड्रेट और वसा की अधिकता दिल के लिए नुकसानदेह हो सकती है और इसे संतुलित आहार से नियंत्रित किया जा सकता है।

कार्डियोवैस्कुलर बीमारियों से बचाव के उपाय

डॉ. जैन ने सुझाव दिया कि ह्रदय संबंधी बीमारियों से बचने के लिए निम्नलिखित आठ महत्वपूर्ण उपायों को अपनाना चाहिए:

धूम्रपान का त्याग
नियमित शारीरिक व्यायाम
संतुलित आहार
संतुलित शारीरिक वजन बनाए रखना
पर्याप्त नींद
मधुमेह, हाई ब्लड प्रेशर, और कोलेस्ट्रॉल पर नियंत्रण
हरी सब्जियों, सलाद, और फलों का सेवन बढ़ाना
योग और मेडिटेशन का अभ्यास

हृदय स्वास्थ्य के लिए संतुलित जीवन शैली का महत्व

स्वस्थ ह्रदय के लिए आहार में कार्बोहाइड्रेट और वसा की मात्रा घटाना, तथा हरी सब्जियों, सलाद और फलों का सेवन बढ़ाना अत्यंत आवश्यक है। साथ ही, योग और मेडिटेशन भी मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य के लिए अत्यधिक लाभकारी हैं। विश्व ह्रदय दिवस के अवसर पर डॉ. राकेश जैन ने सभी को जागरूक किया कि समय रहते सही कदम उठाकर और स्वस्थ जीवनशैली अपनाकर ह्रदय संबंधी बीमारियों से बचा जा सकता है

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