ड्रोन तकनीक से खेती की पैदावार बढ़ेगी – कृषि मंत्री

· ड्रोन तकनीक से खेती के बारे में सिंजेंटा इंडिया 13 राज्यों के 10 हजार किसानों को प्रशिक्षित करेगी

· मध्य प्रदेश पहुंची सिंजेंटा इंडिया की ड्रोन यात्रा

हरदा | मध्य प्रदेश कृषि और किसान कल्याण मंत्री श्री कमल पटेल ने कहा कि सरकार कृषि में ड्रोन तकनीक का उपयोग कर खेती की पैदावार बढ़ाएगी।सरकार ड्रोन से उर्वरक के छिड़काव से लेकर विकास और कल्याणकारी परियोजनाओं की निगरानी भी करेगी।

सिंजेंटा द्वारा हरदा के 300 से अधिक किसानों को सोयाबीन के खेत पर ड्रोन से छिड़काव का प्रदर्शन दिया गया ताकि उन्हें इस सफल तकनीक से अवगत कराया जा सके।

खिरकिया के बरांगा में आयोजित सिंजेंटा इंडिया के ड्रोन यात्रा के समारोह में कृषि और किसान कल्याण मंत्री श्री कमल पटेल मुख्य अतिथि तौर पर बोल रहे थे।सिंजेंटा इंडिया ने 15 जुलाई को अपने मुख्यालय पुणे से ड्रोन यात्रा को रवाना किया था। इस यात्रा में 10,000 किसानों के बीच ड्रोन से छिड़काव के बारे में जागरूकता पैदा की जाएगी। सिंजेंटा उन कुछ निजी कंपनियों में शामिल है जिन्हें ड्रोन के इस्तेमाल के लिए केंद्र सरकार ने अनुमति दी हुई है।

समारोह में श्री पटेल ने कहा कि तकनीक आधारित कृषि समय की मांग है। हमारे राज्य की खेती में ड्रोन तकनीक की बहुत गुंजाइश है । हम तकनीक का उपयोग कर पैदावार बढ़ा सकते है। आज किसानों की मेहनत की बदौलत ही मध्य प्रदेश सोयाबीन, चना, उड़द, अरहर, मसूर, अलसी के उत्पादन में देश में पहले स्थान पर है।श्री पटेल ने यह भी कहा “आज हरदा जिले में स्थित गृह ग्राम बारंगा में सिंजेंटा द्वारा आयोजित कार्यक्रम में ड्रोन से कीटनाशक व उर्वरक के छिड़काव का अवलोकन किया एवं ड्रोन का ट्रायल किया”।

ड्रोन के उपयोग से किसानों के समय व धन की बचत होगी ड्रोन बहुत कम समय में पूरे खेत में दवा व उर्वरक का छिड़काव कर सकता है। मात्र 10 मिनट में ड्रोन से 1 एकड़ क्षेत्र में नैनो यूरिया या कीटनाशक का छिड़काव किया जा सकता है। भारत सरकार ने भी खेती में ड्रोन के प्रयोग को बढ़ावा देने के लिये नीति घोषित की है। निकट भविष्य में बेरोजगार युवाओं को ड्रोन संचालन का प्रशिक्षण कौशल विकास केन्द्रों के माध्यम से दिया जाएगा तथा ड्रोन खरीदने के लिये अनुदान के साथ ऋण बैंकों से दिलाया जाएगा ताकि खेतों में कीटनाशक व उर्वरक का छिड़काव ड्रोन के माध्यम से कर युवा आय प्राप्त कर सकें और आत्मनिर्भर बन सकें।

उन्होंने कहा कि सरकार ने कृषि में तकनीक आधारित एक रोडमैप भी तैयार किया है, जो खेती की लागत को प्रभावी बनाएगा और किसानों की आय भी बढ़ेगी। किसानों को ड्रोन तकनीक का इस्तेमाल कर अपनी पैदावार बढ़ाने के लिए पहल करनी चाहिए।

सिंजेंटा इंडिया के चीफ सस्टेनेबिलिटी ऑफिसर डॉ केसी रवि ने कहा ड्रोन जैसी तकनीक से पैदावार बढ़ेगी और किसानों को काफी लाभ होगा इससे खेती की तरफ़ लोगों का झुकाव होगा। पिछले 15 वर्षों में मध्य प्रदेश में कृषि फसल उत्पादन में उल्लेखनीय सुधार हुआ है। राज्य मक्का, तिल, रामतिल, मूंग आदि के उत्पादन में दूसरे स्थान पर है और गेहूं, ज्वार, जौ के

उत्पादन में तीसरे स्थान पर है। रबी सीजन में पूरे राज्य में गेहूं, चना, मटर, दाल, सरसों, गन्ना और अलसी बहुतायत में बोई जाती है।

डॉक्टर रवि ने कहा कि हम नई तकनीकों के माध्यम से पर्यावरण में नित्य हो रहे बदलाव के बीच किसानों को पैदावार बढ़ाने में सक्षम बनाएंगे।

आज केड्रोन प्रदर्शन में सरकार की ओर से प्रमुख सदस्य उपस्थित थे -जिनमें दुर्गा दास उइके, संसद सदस्य, हरदा; श्री संजय शाह, विधायक, हरदा, श्री गजेन्द्र शाह, अध्यक्ष, जिला पंचायत, हरदाउपस्थित थे।सिंजेंटाकी ओर से श्री नमित तिवारी, मंडल प्रबंधक, केंद्रीय- फसल संरक्षण; श्री पंकज चुग, डिविजनल मार्केटिंग लीड-सेंट्रल; श्री मिलिंद बेडेकर, तकनीकी सहायता प्रमुख; श्री गजराज राठौड़, व्यवसाय प्रबंधक, निमाड़; श्री सौतभ त्रिवेदी, एफसीई टीम और श्री केएस नारायणन, सीनियर कन्सल्टंट, बिज़्नेस सुस्टैंनबिलिटी उपस्थित थे ।

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