बड़ा गणपति से बिजासन माता मन्दिर तक चुनरी यात्रा में आस्था का “महासागर “

“पर्यावरण संरक्षण” का संकल्प लेकर निकली ढाई किलो मीटर लम्बी चुनरी यात्रा, हजारों श्रध्दालुओं ने थामी चुनरी मार्ग के एक ओर चुनरी यात्रा और दूसरी ओर चालू रहा यातायात पश्चिमी क्षेत्र की परंपरागत “विशाल चुनरी यात्रा निकली

यात्रा संयोजक व पूर्व विधायक सुदर्शन गुप्ता ने बताया कि “पर्यावरण संरक्षण” के संकल्प के साथ विशाल चुनरी यात्रा आज ऐतिहासिक स्वरूप में सम्पन्न हुई। माँ नवदुर्गा के उपासना पर्व नवरात्रि में विशाल चुनरी यात्रा बड़ा गणपति मन्दिर में श्री गणेश की पूजा अर्चना के पश्चात प्रारंभ हुई. लाखों श्रध्दालु बिजासन माता मन्दिर में ढाई किलोमीटर लम्बी सितारों से जड़ी चुनरी लेकर पहुंचे, बिजासन माँ को लाखों सलमा सितारों से जड़ी चुनरी चढ़ाई। विशाल चुनरी यात्रा में एक लाख से अधिक श्रध्दालु व राष्ट्रभक्त सम्मिलित हुए।

बड़ा गणपति चौराहा पर बने मंच से मध्यप्रदेश भाजपा के प्रभारी मुरलीधर राव, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष वी.डी. शर्मा, पूर्व लोकसभा अध्यक्ष श्रीमती सुमित्रा जी महाजन, राष्ट्रीय संत उत्तम स्वामी महाराज, राज्यसभा सांसद कविता पाटीदार, मंत्री तुलसीराम सिलावट, भाजयुमो प्रदेश अध्यक्ष वैभव पंवार, आयडीए अध्यक्ष जयपालसिंह जी चावडा, प्रदेश उपाध्यक्ष जीतू जिराती, भाजपा नगर अध्यक्ष गौरव रणदीवे, जिला अध्यक्ष राजेश सोनकर, विधायक रमेश मेंदोला, विधायक मालिनी गौड आदि ने माता के जयकारे के साथ चुनरी यात्रा प्रारंभ की।

6 किलोमीटर लंबी यात्रा के दोनों सिरे श्रध्दालुओं से जुड़े हुए थे। चुनरी यात्रा इतनी विशाल थी कि इसका पहला सिरा बिजासन माता मन्दिर पर पहुंच गया था, तो दूसरा सिरा बड़ा गणपति मन्दिर पर ही था। श्रध्दालु माता के जयकारों के साथ अपने अपने क्षेत्रों से आ रहे थे। लाल-पीली व केसरियां साड़ियों में महिलायें तथा पुरूष श्वेत वेशभूषा में सम्मिलित थे, जो लाखों सितारों से सजी ढ़ाई किलोमीटर लम्बी चुनरी लेकर भक्ति भाव के साथ चल रहे थे, सम्पूर्ण यात्रा मार्ग श्रध्दालुओं की भक्ति से प्रवाहित था। चुनरी यात्रा में सबसे आगे ओउम् की धर्म ध्वजा थी।

• ओउम् अंकित केसरिया धर्म ध्वजा लिये ध्वज वाहिनी नेतृत्व करती हुई चल रही थी।
• विशाल चुनरी यात्रा में इस बार महाराष्ट्र का विश्व प्रसिद्ध नासिक ढोल विशेष आकर्षण का केन्द्र रहा अमरावती के 50 सदस्य नासिक ढोल की खासियत यह है कि इसके सदस्यों ने कई फिल्मों के साथ साथ कई अभिनेताओं राजनेताओं के आयोजनों में प्रस्तुति दी है। बैंड के सदस्य धोती कुर्ते में बोल लेझिम का लयबद्ध प्रदर्शन करते हुए चल रहे थे।

• चुनरी यात्रा में इस बार प्रसिद्ध भजन गायक गन्नू महाराज अपनी सुमधुर वाणी से भक्ति रस घोल रहे थे। गन्नू महाराज अपनी पूरी टीम के साथ खुले वाहन पर भजनों के माध्यम से माँ बिजासन की स्तुति करते हुए श्रद्धालुओं को भक्ति रस का पान करा रहे थे।
• यात्रा में सिख समाज मुस्लिम समाज बोहरा समाज, बंगाली समाज के लोग अपने वैश-भूषा
में शामिल हुए।
• चुनरी यात्रा में आई बहनों में सेल्फी का क्रेज रहा, बालिकायें चुनरी के साथ सेल्फी लेती रही।
• श्रध्दालुओं में धर्म के प्रति समर्पण और आस्था का सैलाब उमड़ते हुए देखते ही बनता था। इस विहंगम दृश्य ने महाकुंभ को सादृश्य कर दिया।

• यात्रा मार्ग पर जगह-जगह सैकड़ों मंचो व घरों से पुष्प वर्षा कर नागरिक यात्रा का स्वागत
कर रहें थे।

• विभिन्न सामाजिक, राजनीतिक, शैक्षणिक संस्थाओं सहित अनेक संस्थाओं ने विशाल चुनरी यात्रा का विभिन्न स्थानों पर स्वागत किया।
• चुनरी को थामने और माथे से लगाने के लिये क्षेत्र की जनता आतुर थी।

स्वच्छता ही सेवा का संदेश दिया

• स्वच्छता अभियान के नारे को चरितार्थ करते हुए श्री अश्विनी शुक्ल के नेतृत्व में स्वयं सेवक कार्यकर्ता यात्रा के पीछे सफाई करते हुए चल रहे थे।

दो हजार से ज्यादा चुनरी रक्षक संभाल रहे थें चुनरी व यातायात व्यवस्था
• दो हजार से अधिक चुनरी-रक्षक कार्यकर्ताओं ने सम्पूर्ण यात्रा मार्ग पर व्यवस्थाओं का संचालन किया। यात्रा श्रध्दा, विश्वास व संकल्प का महाकुंभ सी प्रतित हो रही थी। यात्रा अग्रसेन चौराहा. बी. एस. एफ चौराहा, शिक्षक नगर कालानी नगर चौराहा, विद्याधाम मंदिर से एरोड्रम रोड़ होते हुए बिजासन माता मंदिर पहुंची।

• सुव्यवस्थित व अनुशासित “विशाल चुनरी यात्रा के कारण एरोड्रम रोड पर कही भी यातायात बाधित नहीं हुआ, क्योंकि यात्रा पूरे समय मार्ग के एक लेन पर चली व दूसरी लेन वाहनों के आवागमन के लिए खुल रखी साथ ही सुपर कॉरिडोर से छोटा बांगडदा व टाटा स्टिल का मार्ग तथा एयरपोर्ट थाने के पीछे से 60 फीट रोड़ चालू होने से राहगीरों एवं वाहनों चालकों को बाधा नहीं हुई।

यात्रा संयोजक सुदर्शन गुप्ता ने कहा कि यह यात्रा हम धार्मिक भावना तथा देश भक्ति से ओत-प्रोत होकर निकालते है। पश्चिमी क्षेत्र पुराना इन्दौर माना जाता है। आज भी हमारे यहा परंपरागत त्यौहार रंगपंचमी, गणेश चतुर्थी और नवरात्री को पूर्ण निष्ठा व भक्ति-भाव के साथ मनाते आयें है चुनरी यात्रा की तैयारियों को लेकर हमारे 3 हजार से अधिक युवा साथियों ने कड़ी मेहनत की हैं। इस विशाल आयोजन की तैयारियां 3 माह पूर्व से हम प्रारंभ करते हैं। यात्रा में आने वाली बहनों का पंजीयन व 400 से अधिक बैठकों के माध्यम से चुनरी यात्रा का संदेश और अन्य व्यवस्थाओं की जानकारी घर-घर पहुँचाई जाती हैं। इस सफलता में हमारे सभी साथी और युवाओं का परिश्रम सम्मिलित हैं।

पंचकुईया राम मंदिर के संत श्री गोस्वामी ब्रजोउत्सव जी महाराज, महामण्डलेश्वर संतश्री राधे-राधे बाबा, वल्लभाचार्य जी महाराज, चेतन स्वरूप जी महाराज, महामण्डलेश्वर संतश्री दादू महाराज, गोपाल दास जी महाराज, चिन्मयानन्द जी महाराज, एमआईसी सदस्य अश्विनी शुक्ल, निरंजनसिंह चौहान, पार्षद महेश चौधरी, शिखा संदीप दुबे, बरखा नितीन मालू संध्या यादव, भावना मनोज मिश्रा, राहूल जायसवाल, कमल वाघेला, सीमा कृष्णवल्लभ डाबी, पराग कौशल, सोनाली मुकेश धारकर, मंडल अध्यक्ष कपिल शर्मा, गगन यादव, नितीन कश्यप, अनिल तिवारी, शुभम गुप्ता, युवा मोर्चा महामंत्री धीरज ठाकुर, पंकज मुदंडा, साकार गुप्ता, घनश्याम गुप्ता, तरुण चांगड़, सिध्दार्थ गुप्ता, संजय कोल्पे, मुकेश खाटवा, सुनील शर्मा, दीपक पाल, शीला गुप्ता, सुनीता गोरंग, सुनीता जयपाल, जसमीत जैन, मंजु ठाकुर, आर.एन. मिश्रा, गणपत कसेरा, शंकर यादव, गोपाल गोयल सहित बड़ी संख्या श्रध्दालु विशाल चुनरी यात्रा में शामिल हुए।

एरोड्रम थाने के सामने विशाल मंच से दिलाया संकल्प

एरोड्रम थाने के सामने विशाल मंच बनाया गया जिस पर माँ बिजासन का चित्र अंकित था। प्रमुख अतिथियों ने श्रध्दालुओं के विशाल समूह को “पर्यावरण संरक्षण के लिये पौधे लगाकर उन्हें वृक्ष बनने तक देखभाल करने, आस पास के जलाशयों को दूषित होने से रोकने, सिंगल यूज प्लास्टिक का उपयोग नहीं करने का संकल्प दिलाया।

झलकियां –
• सुबह से ही श्रध्दालु झांझ मंझीरे लेकर माता जी के जयकारे लगाते हुए बड़ा गणपति मन्दिर पहुंच रहे थे।
• विशाल चुनरी यात्रा प्रारंभ करने के पूर्व अतिथियों ने बड़ा गणपति मन्दिर में पूजा अर्चना कर यात्रा प्रारंभ की।
• सिक्ख समाज, बोहरा समाज, वाल्मिकी समाज, प्रजापत समाज, साहू समाज, पालीवाल
समाज, कुशवाह समाज, पाल समाज, यादव समाज, मराठी समाज, राजस्थानी गुर्जर समाज, बंजारा समाज, सेन समाज, खण्डेलवाल समाज, दधीची ब्राम्हण समाज, अग्रवाल समाज, दर्जी समाज, मेडतवाल समाज, अल्पसंख्यक समाज सहित अनेक समाज के पदाधिकारियों ने
मंच लगाकर यात्रा का स्वागत किया।
• यात्रा मार्ग में पधारे श्रध्दालुओं का नागरिक घरों से पुष्प वर्षा कर स्वागत कर रहे थे।
• सैकड़ों मंचो के माध्यम से यात्रा के श्रध्दालुओं का स्वागत किया गया।
• लाखों सितारों से सजी ढाई किलो मीटर लम्बी परंपरागत चुनरी माँ बिजासन को अर्पित की गई।

• युवा झांज मंजीरें बजाते हुए भक्ति गीत गा रहे थे. कुछ युवाओं की टोली स्वयं सेवक के रूप में व्यवस्थाओं को संचालित करने में जुटी हुई थी। सम्पूर्ण पश्चिमी क्षेत्र धर्म मय हो गया था धर्म ध्वजा लिये माताएं बहनें भजन करते हुए चल रही थी. तो दूसरी और पुरूष भी टोलियों में चल रहे थे।

• “चलो बुलावा आया है. बिजासन माता ने बुलाया है” जैसे भक्ति गीतों पर यात्रा में

शामिल मातायें व बहनें झुम रही थी। कार्यक्रम का संचालन बडागणपति पर श्री विजय बिजवा एवं एयरपोर्ट थाने के सामने बने मंच पर प्रो. डॉ. मंगल मिश्र द्वारा किया गया।

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